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गुरुवार, जून 07, 2012

भाग लीजिए प्रतियोगता में( चर्चा - 903 )

आज की चर्चा में आप सबका हार्दिक स्वागत है
Catch My Post पर काव्य प्रतियोगता का आयोजन चल रहा है आप भी अपनी रचना के साथ हिस्सेदारी कर  सकते हैं , और अगर आपके पास फेसबुक  खाता है तो अन्य प्रतियोगियों की रचना को लाइक करके अपना कीमती वोट दे सकते हैं , मेरी रचना भी यहाँ दी गई है, जो आपके वोट का इन्तजार कर रही है
चलते हैं चर्चा की और
 
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जुबां निगाह जब बने तो बोलना छोड़ दो 

शेखर सुमन का नाबाद शतक 

मन की किताब के पन्ने पर महक रहा तुम्हारा नाम 

आँगन की तुलसी 
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भीख दोगे तो बनोगे भिखारी

जीवन जीने की कहानी 

आकार - 2012
विजय कुमार  : VIJAY  KUMAR
दोस्ती और प्यार का रंग 

वोडाफोन का वो

लव, सेक्स, धोखा 

देश या दुकान 

तेरी यादों का गट्ठर 

ख्वाहिश छोड़ दूं 
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दोहरी न्याय व्यवस्था और दोहरे लोग 

कलम की चाहत तुम्हारा अंतर्मन हिलाने की 

जीने का भी कोई तो मकसद दे देते 

मन में हो विश्वास तो राह मिल जाएगी 
मेरा फोटो
पंच के आसन पर आसीन शब्द 
DSC01078
ब्लोगिंग क्यों ?
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पदचिह्न 

हम मनाते हैं पर्यावरण दिवस मगर.....

हरियाली का हरण हो रहा बाबा जी 

जग हरियाली युक्त बनाएं 

सचेत करती माँ 
मेरा फोटो
बिना शब्दों का खत 

थोडा हँस लीजिए 

images (13)
अंत में हंए इस व्यंग्य के साथ 
आज के लिए बस इतना ही
धन्यवाद

20 टिप्‍पणियां:

  1. विविधता और रोचकता लिए हुए सुन्दर चर्चा!
    आभार!

    जवाब देंहटाएं
  2. साथक सफल प्रयास ......शुभकामनायें जी

    जवाब देंहटाएं
  3. बहुत सुंदर लिंक्स के साथ अलग अंदाज में दिलबाग की चर्चा बेहतरीन !!!

    जवाब देंहटाएं
  4. सुन्दर विर्स्त्रत चर्चा के लिए बहुत बहुत बधाई आपकी कविता पर लाईक पहले ही कर दिया था

    जवाब देंहटाएं
  5. badhiya charcha....

    vistrut links...
    aapka ek vote pakka
    shubhkaamnaayen.............

    anu

    जवाब देंहटाएं
  6. आज के चर्चा मंच मे युनिक ब्‍लाग के लेख को सामिल करने के लिये आपका धन्‍यवाद

    युनिक तकनीकी ब्‍लाग

    जवाब देंहटाएं
  7. बहुत सुन्दर चर्चा दिलबाग जी,
    मेरी पोस्ट सम्मिलित करने के लिए शुक्रिया
    आपका १ बोट सुनिश्चित !!!

    जवाब देंहटाएं
  8. बहुत विविधता लिए चर्चा |मेरी रचना शामिल करने के लिए आभार |
    आशा

    जवाब देंहटाएं
  9. बहुत खूबसूरत लिंक संयोजन्।

    जवाब देंहटाएं
  10. बहुत ही अच्‍छे लिंक्‍स संयोजित किये हैं आपने ... आभार

    जवाब देंहटाएं
  11. विशिष्ट साजसज्जा से सुशोभित इस सुन्दर चर्चामंच में अन्य महत्वपूर्ण लिंक्स के साथ आपने मेरी रचना को भी सम्मिलित किया इसके आपका बहुत-बहुत धन्यवाद एवं आभार !

    जवाब देंहटाएं
  12. Great links...great charcha.... Dil garden-garden ho gaya Sir...

    जवाब देंहटाएं

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