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गुरुवार, अप्रैल 17, 2014

बन्दर के हाथ में उस्तरा ( चर्चा - 1585 )

आज की चर्चा में आप सबका हार्दिक स्वागत है 
गुरुद्वारा में कौन-सा समास है  ? -यह मैं नहीं पूछ रहा है यह RTE के अंतर्गत पूछा गया प्रश्न है और यह पूछा गया है सिरसा जिले के सभी हिंदी लेक्चरार ( स्कूल कैडर ) से | अब सोचिए क्या हमने बन्दर के हाथ में उस्तरा तो नहीं दे दिया ?
चलते हैं चर्चा की ओर 
उच्चारण
म्हारा हरियाणा
उलूक टाइम्स
मेरा फोटो
आभार 
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"अद्यतन लिंक"
ड़ॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
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प्रेरक लेख- 1. पुरूषार्थी बनो 

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अब नरेंद्र मोदी पर बॉलिवुड में छिड़ा वॉर 


आपका ब्लॉग पर Virendra Kumar Sharma
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एक टुकड़ा धूप का !! 

Divya Shukla
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देह के परे भी 

स्त्रियाँ जीती हैं सम्पूर्ण सत्य 
अपनी उपस्थिति के साथ 
सिर्फ़ चौके चूल्हे तक ही 
नही है उनका आवास ....
vandana gupta 
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मम्मी के हाथ 

तुम्हारे हाथोँ की उभरती झुर्रियों में
छिपी हैं वो सारी यादें,
जब गोल-मटोल गोरे-गोरे हाथ तुम्हारे
हमें गोद  में उठा लेते थे...
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हर जनम में साथ रहना, 

हर समय तुम मुस्कराना 

सप्तरंगी प्रेमपरKrishna Kumar Yadav 
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दुनिया –एक हाट! 

कालीपद प्रसाद
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पिंकी बिल्ली 

shikha kaushik 
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"रंग-बिरंगे छाते" 

धूप और बारिश से, 
जो हमको हैं सदा बचाते। 
छाया देने वाले ही तो, 
कहलाए जाते हैं छाते।।

हँसता गाता बचपन

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नेता मन के टोटका अउ ठोटका 

जयंत साहू [ charichugli ] 

12 टिप्‍पणियां:

  1. सुप्रभात
    उम्दा लिंक्स हैं आज की |धूप और बारिश में छाते ने बचाया है |पिंकी बिल्ली ने मम्मी के हाथ से दूध मलाई भी खाई है |

    जवाब देंहटाएं
  2. सार्थक एवं पठनीय लिंक्स से सुसज्जित मंच ! आभार !

    जवाब देंहटाएं
  3. सुंदर चर्चा दिलबाग । उलूक का आभार सूत्र 'लिख आ कहीं जा कर किसी पेड़ की छाल पर ये भी' को शामिल करने पर ।

    जवाब देंहटाएं
  4. बढ़िया लिंक्स के साथ सुन्दर चर्चा प्रस्तुति ..
    आभार!

    जवाब देंहटाएं
  5. सार्थक एवं पठनीय लिंक्स से सुसज्जित चर्चा प्रस्तुति .

    जवाब देंहटाएं
  6. बढ़िया लिंक्स के साथ सुन्दर चर्चा प्रस्तुति ..मेरी रचना शामि‍ल करने के लि‍ए आभार..

    जवाब देंहटाएं
  7. सुंदर लिंक्स से सजी सुंदर चर्चा।

    जवाब देंहटाएं
  8. अच्छे लिंकों के साथ सुन्दर चर्चा।
    भाई दिलबाग विर्क जी आपका आभार।

    जवाब देंहटाएं
  9. dilbag virk sir ji delhi se bahar hone ke karan or waha net ki samuchit vyashtha nhi hone ke karn apka sandesh abhi dekha .. manch pr meri rachna ko sthan ene hetu haardik aabhar :)

    जवाब देंहटाएं

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