फ़ॉलोअर



यह ब्लॉग खोजें

शुक्रवार, अक्तूबर 28, 2016

"ये माटी के दीप" {चर्चा अंक- 2509}

मित्रों 
शुक्रवार की चर्चा में आपका स्वागत है। 
देखिए मेरी पसन्द के कुछ लिंक।

(डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक') 

--

आई दिवाली आई 

दशहरा गया दिवाली आई
हो गई घर की साफ-सफाई
व्हाट्सएप्प और फेसबुक पर
लोग देने लगे बधाई
आई दिवाली आई
खुशियों की सौगात लाई... 
--

दोहे 

"ये माटी के दीप" 

(डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक') 


कभी विदेशी माल का, करना मत उपयोग। 
सदा स्वदेशी का करो, जीवन में उपभोग।। 
-- 
दीपों की दीपावली, देती है सन्देश। 
घर-आँगन के साथ में, रौशन हो परिवेश।। 
-- 
पाकर बाती-नेह को, लुटा रहा है नूर। 
नन्हा दीपक कर रहा, अन्धकार को दूर... 
--
--
--

तुम्हारा नाम लिख दिया ... 

झरोख़ा पर 
निवेदिता श्रीवास्तव  
--
--
अनुवाद का शाब्दिक अर्थ – 
किसी कही हुई बात को (उसी तरह) पुनः कहा जाना – को 
अनुवाद माना जा सकता है. “ उसी तरह ”... 
--
--
कुछ हम बुरे, कुछ तुम बुरे, कुछ यह जमाना बुरा 
शायद इसीलिए है यहाँ पर दिल लगाना बुरा | 

दुश्मनों की फेहरिस्त में लिख लिया मेरा नाम 
इसलिए अब लगे उनको मेरा मुस्कराना बुरा ... 
--
--

कर कुछ ऐसा 

कर कुछ ऐसा कि तेरे नाम को नाम मिले । 
वो जो पूछेगा तुझे कुछ तो बताना होगा ।। 
भले उड़ जाये गगन में तू कहीं तक पंछी । 
धरा पे लौट के आखिर तो तुझे आना होगा... 
--

ख़्वाब के पार 

जब भी सोचा ज़िंदगी में ख़्वाब के पार चलूँ, 
ज़िंदगी ख़्वाब है, सोचा कि इस के पार चलूँ। 
कह लो जो चाहो, शायद ये आख़िरी पल हो, 
कि सोचता हूँ इस कहने सुनने के पार चलूँ... 
पथ का राही पर musafir 
--
--
--
--
--
--
--

9 टिप्‍पणियां:

  1. शुभ प्रभात
    उत्सव के दिनाो में
    इतना समय मिकालना
    श्रमसाध्य है
    आप वास्तव मे धन्य है
    दीपावली की शुभकामनाएँ
    सादर

    जवाब देंहटाएं
  2. शुभ प्रभात
    उत्सव के दिनों में
    इतना समय निकालना
    श्रमसाध्य है
    आप वास्तव मे धन्य है
    दीपावली की शुभकामनाएँ
    सादर

    जवाब देंहटाएं
  3. यशोदा जी की बात से पूर्णत: सहमत हूँ । आज की सुन्दर चर्चा में 'उलूक' की नाक को शामिल करने के लिये आभार ।

    जवाब देंहटाएं
  4. बहुत बढ़िया चर्चा प्रस्तुति में मेरी पोस्ट शामिल करने हेतु आभार!

    जवाब देंहटाएं
  5. अच्छे पठनीय लिंक सहेजे हैं आपने ,साथ में झरोखा को भी सम्मिलित किया ... आभार !

    जवाब देंहटाएं
  6. खूबसुरत चर्चा दीपोत्सव की हार्दिक बधाई

    जवाब देंहटाएं
  7. Bahut Achhi Charcha Manch sabhi poste and thank you so much my blog post submit Karne ke liye....

    जवाब देंहटाएं
  8. Bahut Achhi Charcha Manch sabhi poste and thank you so much my blog post submit Karne ke liye....

    जवाब देंहटाएं
  9. मेरी पोस्ट शामिल करने हेतु आभार!

    जवाब देंहटाएं

"चर्चामंच - हिंदी चिट्ठों का सूत्रधार" पर

केवल संयत और शालीन टिप्पणी ही प्रकाशित की जा सकेंगी! यदि आपकी टिप्पणी प्रकाशित न हो तो निराश न हों। कुछ टिप्पणियाँ स्पैम भी हो जाती है, जिन्हें यथा सम्भव प्रकाशित कर दिया जाता है।