ओये - होए आज तो बड़े खिले खिले गुलाब की तरह दिख रहे हैं सबके चेहरे......क्या बात है जी..........ओह ! अच्छा ! तो ये बात है ...........आज वैलेन्टाइन डे है इसलिए .........आ हा ..........क्या असर होता है इस एक दिन का भी ...........वैसे उमड़े या ना उमड़े मगर इस दिन जरूर सारा प्यार उमड़ आता हैं हर चेहरे और दिल में...........चलो अच्छा है जी इसी बहाने साथी खुश तो हो जाता हैं ...........कभी- कभी एक पल की ख़ुशी ही काफी होती है ज़िन्दगी के लिए ...........तो चलिए भई , इस ख़ुशी में डूब जाएँ और कुछ पल ज़िन्दगी के जी जाएँ आज की पोस्टों के संग
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पढ़े तो पंडित होए
यूँ ही थोड़े कहा गया हैं
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छोटी छोटी बातों में ही तो प्यार छुपा होता हैं
वरना तो दुनिया में हर जगह धोखा ही धोखा हैं
3
एक बार फिर तुम्हारे प्रेम से भरने के लिए
4
कुछ तो दिलों के ताले खोलो
प्रेम रंग में खुद को डुबो लो
5
जो तुमको यहाँ ले आई हैं
6
6
मुझे मुझसे चुरा के चले गए
7
7
प्रेम का प्रथम छंद
8
कुछ मुझमे तुम
और तुममे मैं
बाकी रह गए
9
आओ मनाएं सजन
इक दूजे में खो जाएँ हम
10
किसी को बुलाकर तो देखो
11
जो तुम गुनगुनाते
तो कुछ और बात होती
12
है इबादत कोई या दुआ है जिंदगी
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शायद खुदा हैं ज़िन्दगी
13
प्यार क्या है ..........
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17
टीवी सीरियल में आपत्तिजनक अंशों के लिए क्या कार्यवाही की जाए?
18
आदतन
19
उतरते पानी के साथ
सिर्फ दर्द ही रह गया
20
करके देखो
14
ग़ज़लएक दिया तो जल जाने दे,सूरज को कुछ सुस्ताने दे।पलट
चाँद को मुस्काने दे
कुछ तो साथ निभाने दे
15
हम क्यों ना मनायें वेलेंटाइन डे
जरूर मनाइए
आखिर है किसलिए ?
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कद बड़ा करता साया (रफत आलम)ज़िन्दगी से मिला गया
जीने का सबब समझ आ गया
17
टीवी सीरियल में आपत्तिजनक अंशों के लिए क्या कार्यवाही की जाए?
क्या कोई असर होगा कार्यवाही का?
18
आदतन
एक बार फिर तुम
याद आ ही गए
19
उतरते पानी के साथ
सिर्फ दर्द ही रह गया
20
कभी तू मै दिखे
कभी मैं तू दिखे
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यही सबका नजरिया बने तो क्या बात हो
22
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एक और जहान हैं जहाँ
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सबका अपना अपना
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लौट कर उनकी खबर लाती तो होगी
दिल की लगी कुछ बुझाती तो होगी
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जब भी ये दिल उदास होता हैं
जाने कौन आस पास होता हैं
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उन्होंने ही जीवन को पहचाना
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पहचान कौन ?
दर्द अपना कह लेने दो
दो आँसू बह लेने दो
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दो आँसू बह लेने दो
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चुभती साँसें मत देखा कर
दर्द पुराने मत देखा कर
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" चुनावी मौसम "
फिर बहकाने आ गया
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बाहर जानें से पहलें अब इत्तला नहीं करतें.................
कब बड़े हो जाते हैं पता ही नहीं चलता
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चिड़िया से
भोर का पैगाम लाती है
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मेरी त्रिवेनियाँ...
कैसे पार करे कोई
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गोडसे अब भी याद है मुझेवेदना का चित्रण
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एक बात कहूँ मैं तुमसे...यदि तुम सचमुच तहे-दिल से सुन सको...??
ये कैसी मदिरा पिला दी
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अपनों के नाम
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प्यार का पैगाम मोहब्बत के नाम
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पैसे का मोहताज़ नहीं है
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जिस पर चढ़ा उसने ही जाना
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हर रंग मुस्काया है
एक कडवा सच
चलिए दोस्तों अब आप सब मनाइए अपना प्रेम दिवस ......कब तक यहीं बैठे पोस्ट पढ़ते रहेंगे जी ..........कुछ देर अपने उनको भी दे ही दीजिये आज ..........चर्चा मंच तो रोज आता है ..........प्रेम दिवस थोड़े ना रोज आता है ............अरे हाँ , जनाब जाते जाते अपने कीमती , बहुमूल्य विचार तो प्रगट करते जाइये ..........हम जैसो का भी कुछ तो दिन बन ही जायेगा .
प्रेम दिवस की सबको हार्दिक शुभकामनाएं
मजा आ गया आज की पोस्ट को पढकर एक से बढकर एक लिंक के लिए आभार
जवाब देंहटाएंवैलेंटाइन डे स्पेशल जिंदगी है छोटी हर पल मे खुश हुं
आभार इन लिंक्स का.
जवाब देंहटाएंवंदना जी,सप्रेम नमस्कार !!
जवाब देंहटाएंसर्वप्रथम आज के चर्चामंच को महमोहक ढंग से सजाने -सवारने और तथा आज के महत्व को प्रतिपादित करनते हुए एक के बाद एक ख़ूबसूरत लिंकों को जोड़ना अच्छा लगा. आज के दिन को प्रायः लोग विवादित बना देते हैं परन्तु इअतना तो सच है की आह यदि हम 'प्यार औए इजहार' जैसी बातों पर बोल रहें हैं या खुलकर लिख रहें हैं तो यह भी कम उपलब्धि नहीं है, प्रेम का ढाई आखर अपने में सब कुछ समेटे हुए है. प्रत्येक सृजन का मूल है -'प्रेम'.प्रेम पवित्र अहसास है जो समर्पण से उपलाब्ध्ह होता है, जिसे अधिकार और फटकार छू तक नहीं सकते, जिसे धन खरीद नहीं सकता, जो कभी बिक नहीं सकता. कोई छिन नहीं सकता यदि मिल जाए तो किस्मत समझिये. प्यार पाने का केवल एक ही उपाय है प्यार करना और प्यार बांटना.. जीवन में उल्लास आजायेगा, प्यार बन के जीवन पर छा जायेगा. कुछ बहुत ही अच्छे लिंक मिले हैं. धीरे-धीरे उनकी गरिमा के अनुरूप पढूंगा.
एक बहुत ही सहज किन्तु मन को झकझोर देने वाली रचना पढ़ी. उसमे दो आँखे बनी हैं एक बोलती सी..हंसती सी, प्रफ्फुलित औत और दूसरी गम से बोजिल. आंसुओं से भीगी हुयी यूं तो दो चित्र ही पयाप्त थे अपनी बात कहने के लीये लेकिन शब्द साथ जुड़ कर सार्थक हो गए.. उसमे अपना भी चेहरा दिखा. यह गलती मुझसे भी होती है पर ध्यान नहीं जाता था. लेखिका तो बधाई. मेरी रचना को स्थान देने के लिए बधाई और आबार . जिन्हें प्यार का ehsaasनहीं होता वे किसी से प्यार कर भी नहीं सकते. चाहे वह जीवन साथी हो, मित्र हो, समाज हो या राष्ट्र. फिर कहूँगा एकबार - 'जन्हें जीना नहीं आया वे मरना क्याजाने'.मृत्यु इस प्रेम की पूर्णाहुति है. प्रेम में सर्वस्वा खो देना, होम कर देना ही प्रेम है. जीवन का सार्थक समर्पण ही 'मृत्यु का सौंदर्य है'.
जवाब देंहटाएंप्रेम यज्ञमय जीवन है तो मृत्यु उसकी पूर्णाहुति है..सभी को नेह्भारा - स्नेह भरा अभिवादन.
बहुत सुन्दर चर्चा!
जवाब देंहटाएंवेल इन टाइम।
हैप्पी वेलेंटाइन डे!
अब चर्चा मंच फिर से http://charchamanch.blogspot.com/
पर आ गया है!
क्योंकि यह http://charchamanch.uchcharan.com/ खुल नही रहा था!
आद.वंदना जी,
जवाब देंहटाएंआज के चर्चा मंच की बहुरंगी सजावट आपके अथक श्रम का परिणाम है !
मेरी अभिव्यक्ति " वेश्या " को इस मंच पर सम्मान देकर उपकृत करने के लिए धन्यवाद और आभार !
आद.वंदना जी,
जवाब देंहटाएंआज के चर्चा मंच की बहुरंगी सजावट आपके अथक श्रम का परिणाम है !
मेरी अभिव्यक्ति " वेश्या " को इस मंच पर सम्मान देकर उपकृत करने के लिए धन्यवाद और आभार !
हार्दिक शुभकामनाएं - हैप्पी हग डे और वेलेंटाइन डे ... बहुत सुंदर चर्चा ... आभार |
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर चर्चा ..गुलाब सी महकती हुई ....अभी सारे लिंक्स पढ़े नहीं हैं :)...वक्त नहीं मिल रहा :) मौका मिलते ही मारती हूँ न चक्कर सब जगह ...
जवाब देंहटाएंअच्छे लिंक्स के लिए आभार
बहुत ही सुन्दर काव्यमयी चर्चा के लिए बधाई..बहुत सुन्दर लिंक्स..मेरी रचना को चर्चा में शामिल करने के लिए धन्यवाद..आभार
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर चर्चा
जवाब देंहटाएंAABHAR AAP KA
MERI POST KE LIYE OR ITNI SARI PYARI PYARI POST KE LIYE
http://kavyawani.blogspot.com/2011/02/blog-post_13.html#comments
सभी चुनिन्दा लिंक्स के लिये आभार...
जवाब देंहटाएंवेलेंटाइन के बेहद उम्दा लिंकों से सजी चर्चा !
जवाब देंहटाएंसुन्दर चर्चा. मेरी बधाई स्वीकारें .
जवाब देंहटाएंसुंदर गुलदस्ता ...रचनाओं का
जवाब देंहटाएंवंदना जी,
जवाब देंहटाएंहर बार की तरह से इस बार भी बहुत सी मन भवन रचनाएँ पढ़ने को मिली और नए लिंक भी मिले. मेरी पोस्ट को शामिल करने के लिए धन्यवाद.
आपके इस अथक परिश्रम के लिए आपको बहुत बहुत धन्यवाद.
आदरणीय वंदना जी,
जवाब देंहटाएंवेलेंटाइन डे को बहुत खूबसूरत तरीके से सजाया है आपने चर्चा मंच पर, मेरी रचना को चर्चामंच के लिए चुना इसके लिए बहुत बहुत आभार !
हैप्पी वेलेंटाइन डे!
वंदना जी,
जवाब देंहटाएंनमस्कार
आज की चर्चा मनभावन रही।
मेरी रचना सम्मिलित करने हेतु हृदय से आभार।
बहुत आभार.
जवाब देंहटाएंरामराम.
बहुत ही सुंदर चर्चा वंदना जी......बहुत सारे अच्छे लिंक्स मिले.....।
जवाब देंहटाएंवन्दना जी,
जवाब देंहटाएं’कद बड़ा करता साया’ को अपनी सूची में शामिल करने के लिये धन्यवाद।
हमेशा की तरह आपके संकलन की बदौलत अच्छी रचनायें पढ़ने को मिलीं।
bahut manmohak charcha prastut karne ke liye hardik shubhkamnayen .
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर लिंक्स...आभार इन लिंक्स का.
जवाब देंहटाएं"प्रेम दिवस" की बहुत बहुत शुभकामनाएं!
जवाब देंहटाएंइन्द्रधनुषी चयनिका .आभार .
जवाब देंहटाएंsundar charcha... aaj ki... aabhaar..
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर चर्चा!
जवाब देंहटाएंहैप्पी वेलेंटाइन डे!
कई अच्छे लिंक मिले ! आभार आपका
जवाब देंहटाएंसर्वप्रथम आपको धन्य्वाद मेरी ग़ज़ल को आज की चर्चा में स्थान देने के लिये, आज की चर्चा का कलेवर बहुत ही सुन्दर है। बह्त सारे अच्छे लिंक्स के लिये आभार।
जवाब देंहटाएंमेरी रचना को चर्चामंच में शामिल करने के लिए धन्यवाद...
जवाब देंहटाएंआप सभी सुधिजनो का मेरे ब्लॉग पर पधारने के लिए शुक्रिया...
जितनी भी रचनाएं है मंच पर एक से एक हैं.....
मैं सभी का धन्यवाद करती हूँ !!