माफ कीजियेगा , साँपला से आने में लेट हो गया सो चर्चा अभी लगा रहा हूँ , चर्चा की शुरुआत से पहले सभी को क्रिसमस मुबारक हो , अब बात करते हैं उस छोटी सी लव स्टोरी की जिसने इतिहास रच दिया है,
सुना है आजकल बेचारे मजबूर प्रधानमंत्री कहते हैं "मेरा भी एक कोना है , जी हाँ, हम धोखेबाज़ हैं सीट के लिए ." कुछ भी तरतीब से नहीं हो रहा पब्लिक हमें शानदार तमाचा न मारे क्योकि तत्काल महिला 'आरक्षण' "इन द पब्लिक प्लेसेस"! लाने वाला हूँ .
चुनावों से ऐन पहले परदे पर गूंजेगा पवार को पड़ा थप्पड़ अब जनता चाँद तारों की बातें तक नहीं सुनती ,
आज का फ़साना यही तक ,
सादर
कमल
बहुत अच्छे लिंक ...
जवाब देंहटाएंवाह...
जवाब देंहटाएंअच्छी चर्चा।
जवाब देंहटाएंबेहतन लिक्स।
धन्यवाद कमल बाबू हमरा पोस्ट लगाने के लिए ... खुदा तुम्हे "इल्मी" की इनायत बक्शे हा हा हा
जवाब देंहटाएंbadhia prayas ...
जवाब देंहटाएंachchhi charcha ..!
अच्छा प्रयाश सुंदर चर्चा,.....
जवाब देंहटाएंमेरी नई रचना...काव्यान्जलि ...बेटी और पेड़... में click करे
बहुत अच्छा प्रयास
जवाब देंहटाएंसुन्दर प्रस्तुति
जवाब देंहटाएंbadiya charcha prastuti...
जवाब देंहटाएंसुन्दर चर्चा.... बढ़िया लिंक्स...
जवाब देंहटाएंसादर आभार....
मेरी क्रिसमस.
BAHUT JALDI ME BAHUT ACHCHHI CHARCHA .BADHAI
जवाब देंहटाएंअच्छी लघु चर्चा॥
जवाब देंहटाएंसुन्दर प्रस्तुति
जवाब देंहटाएंआप सभी का बहुत बहुत आभार चर्चा मंच पे आने के लिए , अगली बार जम के प्रयास करूँगा , दिमाग घर रख और दिल साथ ले के जरुर आयें :)
जवाब देंहटाएंसादर ,
कमल
Nice links .
जवाब देंहटाएंइस समय पूरी दुनिया में दुर्भाग्य से आत्म-हत्या की मानसिकता बनती जा रही है। पश्चिमी देशों में सामाजिक व्यवस्था के बिखराव के कारण समय से आत्म-हत्या की मानसिकता बढ़ती जा रही है।
http://hbfint.blogspot.com/2011/12/merry-christmas.html