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सोमवार, अप्रैल 05, 2010

“मेरे मन को भाई!” (चर्चा मंच)

"चर्चा मंच" अंक - 110
चर्चाकारः डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री "मयंक
प्रतिदिन की भाँति आज भी "चर्चा मंच" सजाते हैं-
आज की ब्लॉग जगत की हलचल निम्नवत् हैं-

आपको सबसे पहले मिलवाते हैं एक नई कवयित्री से जिसका पहला गीत सरस पायस पर रंग बिरंगी तितली के साथ झिलमिला रहा है-

सलोनी राजपूत
--
कक्षा - छ:
डॉ. सुदामा प्रसाद बाल विद्या मंदिर
कन्या इंटर कॉलेज, शाहजहाँपुर (उ.प्र.)

मेरे मन को भाई : सलोनी राजपूत का पहला शिशुगीत

मेरे मन को भाई!
रंग-बिरंगे पंखोंवाली
तितली उड़कर आई!
मेरे मन को भाई!…….

अव आपको ले चलते हैं ज्योतिष की ओर

ज्योतिष की सार्थकता

कालसर्प योग--वास्तविक या कपोल कल्पित ? - एक कहावत है कि संसार में उसी वस्तु की नकल होती है जिसकी माँग अधिक होती है। प्राचीन समय में ज्योतिष केवल आवश्यकता थी परन्तु आज के दौर में ये सिर्फ आवश्यकता ...


अब आपको मिलवाते हैं अमीर धरती के गरीब लोगों से-

अमीर धरती गरीब लोग

क्या ये रेड कारीडोर बन जाने का ठोस सबूत नही है! - रेड कारीडोर पर बहुत समय से बात चल रही है।इसके अस्तीत्व पर सवाल उठते रहें है और रेड कारीदोर के इस्तेमाल पर अभी तक़ शंकाओ की धुंध छाई हुई थी।लेकिन यंहा जो छत्...

आजकल तो जिधर भी देखो उधार ही “अदा” जी की ही धूम है-

ताऊजी डॉट कॉम

वैशाखनंदन सम्मान प्रतियोगिता मे सुश्री स्वप्न मंजूषा शैल 'अदा' - प्रिय ब्लागर मित्रगणों, हमें वैशाखनंदन सम्मान प्रतियोगिता के लिये निरंतर बहुत से मित्रों की प्रविष्टियां प्राप्त हो रही हैं. जिनकी भी रचनाएं शामिल की गई है...

समीरलाल जी की उड़नतश्तरी से भी अदा जी की अदा ही झलक रही है -

 

 


 

 

ब्लॉगर मीट- प

रिवारिक मीट-संगीत संध्या - कल याने ३ अप्रेल को स्वप्न मंजुषा शैल याने अदा जी का अपने पतिदेव संतोष शैल जी और बिटिया प्रज्ञा के साथ आना हुआ. मात्र ४०० किमी की दूरी तय करने में निर्ध...

और यह देखिये, ज़िंदगी के मेले में क्या हो रहा है -

 

 

               

 

 

 

 

 

भिलाई के युवकों द्वारा निर्मित विश्व रिकॉर्ड: सलाहें, योजना व तैयारी - जैसा कि पिछली बार मैंने बताया था कि 1985 में भिलाई के दो नवयुवकों ने मोटरसाइकिल पर विश्व भ्रमण की योजना बनाई व इस माह उसके समापन की रजत जयंती है। इन नवयुवकों...

प्रिंट मीडिया पर ब्लॉगचर्चा 

 

किस तरह से हो रही है, आइये इसे भी देखते हैं -

डेली न्यूज़ एक्टिविस्ट में 'मेरी नज़र से', 'हसरत', 'अरे! सुनो ना', 'Spiritual Guide' तथा 'Hindustani Poetry' - 13 मार्च 2010 को डेली न्यूज़ एक्टिविस्ट के साप्ताहिक स्तंभ 'ब्लॉग गुरू' में आईपीएल क्रिकेट पर मेरी नज़र से, हसरत, अरे! सुनो ना,

भारतीय नागरिक - Indian Citizen

  का आक्रोश भी बिल्कुल सही है -

क्या इस तरह के अतिक्रमण उखाड़ फेंकना नहीं चाहिये..... - एक चित्र आज प्रस्तुत कर रहा हूं. एन-एच-२७ पर पिछले दो वर्ष के अन्दर यह धार्मिक स्थल यहां पर उग आया है.. सड़क से मात्र दस फिट दूर.. इसकी दशा से भी इस….

लड्डू बोलता है ....इंजीनियर के दिल से.....

 

नक़ल करके और रट्टा मार कर.... इंसान तो बने नहीं....कोई भगवान कैसे हो पायेगा...? - भगवान राम ने रामायण नहीं पढ़ा... भगवान कृष्ण ने गीता नहीं पढ़ी.... पैगम्बर मोहम्मद ने क्या कुरआन पढ़ कर अल्लाह को पाया..?.... क्या जीसस बाइबल पढ़ कर ईसा ...

यशस्वी 

क्या यही है हिन्दी प्रेम ??? - *वैसे तो ब्लॉग जगत में फालतू और बकवास पोस्टों पर टिप्पणियों के ढेर लग जाना और उन्हें एक बहुत बड़ा बहस का मुद्दा बना देना होता रहता है, पर अफसोस तब होता है जब...

अंधड़ ! 

लघु व्यंग्य - ताकि अब और कोई भैंस पानी में न जाए ! - बहुत दिनों से ग्वालो और चरवाहों को बस यही बात खाए जा रही थी कि आखिर भैंस के पानी में जाने की वजह क्या थी? भैंस अपने चौबारे से बिदकी क्यों? घर …….

कबीरा खडा़ बाज़ार में 

लो क सं घ र्ष !: जाऊं में तुमको ढूढने अब दरबदर कहाँ - चंगुल से बच के मौत के जाए बशर कहाँ आलामे रोज़गार से उसको मफ़र कहाँ जिस जिंदगी पे मान है इंसान को बड़ा वह जिंदगी भी अस्ल में है मातबर कहाँ आवाज दो कि कौन सी...

और यह देखिये Albelakhatri.com

पर किस बात का भंडाफोड़ हुआ है -

वो बच सकता था लेकिन चिकित्सकों की लापरवाही और मित्रों की अति सेवा ने उसे मार डाला - जयपुर के एक बड़े अस्पताल में एक आदमी टूटी फूटी हालत में लाया गया था । वह अपने मोटर साईकिल पर जा रहा था कि जीप वाले ने उसे टक्कर मार दी थी जिस कारण कुछ हड्ड...

कुछ मेरी कलम से

बन रही है यह ज़िंदगी एक रास्ता भूलभुलैया सी

, आइये देखते हैं, कैसे -

अपनी मंज़िल कहीं और तलाशिये -  वो कहते हैं अब अपनी मंज़िल कहीं और तलाशिये खत्म होने को है अब सब बातें प्यार की अब कोई नया दर्द और नया शग़ल तला...

अब देखिये 

नन्हा मन

  पर 

चिंटू-मिंटू दो जुडवां भाई क्या  कर रहे हैं -


चिंटू-मिंटू - दोनों की शक्ल भी एक जैसी ही थी और दोनों ही बहुत शैतान थे । वे अकसर दूसरे बच्चों संग झगडा करते रहते ।

उनकी मां उन दोनों की हरक...

chavanni chap (चवन्नी चैप) 

फिल्‍म समीक्षा : तुम मिलो तो सही - -अजय ब्रह्मात्‍मज इस फिल्म को देखने की एक बड़ी वजह नाना पाटेकर और डिंपल कपाडि़या हो सकते हैं। दोनों के खूबसूरत और भावपूर्ण अभिनय ने इस फिल्म की बाकी कमि...

हिंदी ब्लॉगरों के जनमदिन -

आज पंकज उपाध्याय का जनमदिन है - आज, 5 अप्रैल को मेरे विचार, मेरी कवितायें वाले पंकज उपाध्याय का जनमदिन है। बधाई व शुभकामनाएँ …

अब उम्मीद का इक दीया तो जलाओ रंग उभर आएगा

काव्य मंजूषा में -


वो दीया ... - वो दीया.... स्याह रात में हर ज़र्रे की स्याह कहानी है और ये अँधेरा छंट जायेगा...!! ख्वाब... हर दिन एक ख़्वाब म...

मानवीय सरोकार

  की इस कोशिश में शामिल होना भी बहुत जरूरी है -

दारू छुड़ा दीजिए - डॉ० डंडा लखनवी    कल  शाम  इक शराबी गया डाक्टर के पास। थोड़ा वो परेशान था,   थोड़ा   था  बदहवास।। बोला वो डा...

साहित्य योग

- ऐसा कोई हंसी दिलदार मांगता हूँ....... - निंद्रा नहीं स्वप्न मांगता हूँ कभी ना बीते वो रात मांगता हूँ आकर जो पोंछ जाये मेरी आँखों से आंसू, *ऐसा कोई हंसी दिलदार मांगता हूँ.......* लिख गाया अपनी म...

इयत्ता

- बिहार में रिफोर्मिस्ट की कमी है - कल रात अचानक बिहार आर्ट थियेटर की दुनिया के एक मजे हुये सख्सियत से मुलाकात हो गई। बातों ही बातों में मैंने पूछा, भारंगम में बिहार आर्ट थियेटर की क्या उपस्थ...

कुछ देर उड़ान भरकर चलो धूप से बात करें ` ` `

उडान -

कुछ कारणो से लम्बे समय से ब्लागजगत से दूर रही. आज एक रचना के साथ लौट रही हूँ. चलो धूप से बात करें अब तो शुभ प्रभात करें . रिश्ता-रिश्ता स्पर्श करें अब तो ना आघात करें . सुनियोजित करते ही हैं कुछ ...

देखते हैं यहाँ किसका शिकार हो रहा है -

शिकार-- बीना अवस्थी नीरज वर्षों पहले बिछुड़े अपने पुराने मित्रों के बीच था। जब से नीरज ने यह शहर छोड़ा है, आज पहली बार दुबारा आना हो पाया है। सच तो यह है कि वह यहां आना ही नहीं चाहता था, परन्तु इसी शहर में ब्याही उसकी छोटी बहन बेहद रुष्ट थी।

अन्त में माँ को हम भी सलाम करते हैं!
माँ तुझे सलाम....

चंद्रपति देवी एक सीधी साधी ग्रामीण महिला हैं,उनमे ऐसा कुछ भी नहीं,जिससे ये लगे कि वे अपने गाँव के धनाढ्य रसूख वाले लोगों से और अपने गाँव कि पूरी पंचायत से लोहा ले सके. उनके पति फ़ौज में सिपाही थे. उन्होंने देश के लिए अपनी जान कुर्बान कर दी और चंद्रपति

नारी 

rashmi ravija

12 टिप्‍पणियां:

  1. अच्छी प्रस्तुति......धन्यबाद...
    http://laddoospeaks.blogspot.com/

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  2. लेखकों के फोटो के साथ ढेर सारे अच्‍छे अच्‍छे लिंकों का एक जगह संग्रह .. नए लोगों को भी हिंदी ब्‍लॉग जगत से परिचय कराने में समर्थ है .. आपका बहुत आभार !!

    जवाब देंहटाएं
  3. बहुत ही सुंदर और मनमोहक चर्चा रही शासत्री जी ..बहुत बढिया ..सारे लिंक्स एक से बढ कर एक लगे
    अजय कुमार झा

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  4. आज की चर्चा मनमोहनी
    और बहुत सलोनी है!

    जवाब देंहटाएं
  5. aapki charcha sadaiv aanand deti hai aur bharpoor link bhi.........

    dhnyavaad

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  6. बहुत उम्दा चर्चा..आनन्द आया.

    जवाब देंहटाएं
  7. बहुत ही अच्छे लिंक्स संकलित किए आपने...
    बेहद पसन्द आई ये चर्चा!!
    आभार्!

    जवाब देंहटाएं

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