मित्रों! आज रविवार है! देखिए मेरी पसन्द के कुछ लिंक! जन्मदिन दिनेशराय द्विवेदी, ![]() बवाल, नितीश राज मुकेश कुमार सिन्हा श्रीश बेंजवाल शर्मा को जन्मदिन की बहुत-बहुत शुभकामनाएँ! -0-0-0-
शराब पर रचना की माँग की थी!
उनकी फरमाइश पर उन्हीं को समर्पित है यह रचना!
"शासन को चलाती है सुरा" |
अब मैं अपना आशीर्वाद देना चाहूँगा! प्यारी सी रुनझुन को! एक नन्ही परी...
: रुनझुन
देखते ही देखते कब और कैसे रुनझुन अपनी उम्र के दूसरे पड़ाव पर पहुँच गयी पता ही नहीं चला . |
Er. सत्यम शिवम् जी काव्य-कल्पना पर लाए हैं! |
शालिनी कौशिक जी भारतीय नारी ब्लॉग पर बता रहीं हैं! श्रमजीवी महिलाओं को लेकर कानूनी जागरूकता. |
RAJEEV KULSHRESTHA जी सत्यकीखोज/आत्मग्यान/
SEARCH OF TRUTH/KNOW YOUR SOUL पर यह रहस्य उदघाटित कर रहे हैं!
इतनी दिव्य प्रकाश रूपी आत्मा । जिसका दूसरा मेल कोई नहीं । ये चींटी जैसे छोटे कीडे के शरीर में कैसे समा जाती है । क्या आत्मा अति सूक्ष्म है ? इससे सूक्ष्म तत्व और कोई नहीं । - आत्मा का शरीर के आकार से कोई लेना देना नहीं है । और ये भी सच है । ये अति सूक्ष्म से सूक्ष्म भी है । और फ़िर विराट भी । और ये भी सच है । इससे ज्यादा सूक्ष्म तत्व कोई भी नह ...
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मुक्त सत्य |
आदरणीय महामहिम राष्ट्रपति महोदया, कई दिनों से सोंच रहा था आपको एक पत्र लिखूं, पर शायद हिम्मत साथ नहीं दे रही थी. आज बहुत हिम्मत जुटा कर आया हूँ ...
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किरण-केजरीवाल का, खेला करो खराब | - (१) सरकारी बन्धुआ मिले, फ़ाइल रक्खो दाब, किरण-केजरीवाल का, खेला करो खराब | खेला करो खराब, बहुत उड़ते हैं दोनों -- न नेता न बाप, पटा ले जायँ करोड़ों | ...
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प्यार करना कितना गुनाह है हम ही उन्हें याद करते हैं * *और रोते हैं वह तो बहुत हँसते रहते है ! हम क्यों परेशान होते रहते है? सोचती हूँ कई बार * *उन...
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SADA
मैं जब भी गुजरे पलों का हिसाब करती हर बार की तरह तुम्हे भुलाने की खाकर कसम और ज्यादा याद करती सिसकियां मेरी खामोशियों पर इस कदर वार करती...
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शरद यादव ने जो कहा है वह विशेषाधिकार हनन नहीं है ?
शरद यादव ने पहले
अन्ना अनशन पर बहस के दौरान
अपने दुर्मुख से अन्ना जी के
खिलाफ व्यक्तिगत
बहुत कुछ कहा...
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मैं चला जा रहा हूं लक्ष्य निर्धारित नहीं दिशा नहीं ज्ञात माध्यम भी अज्ञात फिर भी चला जा रहा हूं बहुत शोर हो रहा है किसका है शोर क्यों है शोर शोर का क्या...
| दिल्ली में शिखा वार्ष्णेय का ख़ैर-मख़दम...खुशदीप - *तारीख*...31 अगस्त 2011 *स्थान*... वीमेंस प्रेस क्लब, कनाट प्लेस, दिल्ली *मौका*...शिखा वार्ष्णेय के दिल्ली में होने पर छोटा सा गेट-टूगैदर |
योगेन्द्र मौदगिल | कवि योगेन्द्र मौदगिल
कुछ पंक्तियाँ किसी के लिए......
रिश्तों पर
इलज़ाम सहे.
प्रेम
के ढेरों नाम सहे..
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Gangesh Kumar
बड़े हीं असमंजस के दौर से
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पंजाब टेक्निकल यूनिवर्सिटी (पीटीयू) ने पीएचडी के लिए मास्टर डिग्री में 60 फीसदी अंक होना अनिवार्य कर दिया है। पंजाब यूनिवर्सिटी, गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी ..
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ओंकार सिंह --- जन्मतिथि: ०४ जुलाई १९५०
जन्म-स्थान:
ग्राम- चंगेरी (मुरादाबाद) प्र
काशन: अनेक पत्र-पत्रिकाओं एवं समवेत संकलनों मे...
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.......चाँद पुखराज का......
आस-पास, गुज़रते वक़्त की चहलकदमी में एक मीठी दोपहर करवट लेती है . दिन का ,
रेशमी उजास.... फिसलता .... |
सरकार द्वारा बुलाई गयी सर्वदलीय बैत्य्हक में आम राय थी कि संसद में प्रस्तुत लोकपाल विधेयक कमजोर है, अपर्याप्त है और इसलिए सरकार इसे वापस ले। वाम पक्ष ने जन...
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फ़ुरसत में ...
* *गुरुओं**
**को नमन!* **
*मनोज कुमार* *09831841741* वर्षा थम नहीं रही। बादल ...
उमड़-घुमड़ कर
आ रहे हों।
मदमस्त,
अल्हड़, उन्माद से
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Smart Indian - स्मार्ट इंडियन | Source: आवाज़
'सुनो कहानी' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने पंडित सुदर्शन की मार्मिक कहानी "तीर्थयात्रा" का पॉडकास्ट अर्चना चावजी की आवाज़ में सुना था। आज हम आपकी सेवा में प्रस्तुत कर रहे हैं अनुराग शर्मा की एक कहानी "सौभाग्य", जिसको स्वर दिया है अनुराग शर्मा और डॉ. मृदुल कीर्ति ने।कहानी "सौभाग्य" का कुल प्रसारण ...
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फिंगर बाउल या फिंगर बाथ?
Arvind Mishra | Source: क्वचिदन्यतोअपि..........!
फिंगर बाउल या फिंगर बाथ? अभी उसी दिन जब रेस्तरां में हम जैसे ही खाना ख़त्म किये तो बगल से गुजरते हुए बेयरे को बुलाकर मैंने कहा "फिंगर बाथ" ..और वह ऑर्डर सर्व करने आगे बढ़ गया ...तभी बिटिया की तीखी, ठंडी सख्त आवाज कानों में पडी "पापा,फिंगर बाथ नहीं फिंगर बाउल " मैं भी अड़ गया ..."नहीं, फिंगर बाथ " ..मामला शर्त तक जा पहुंचा ..बीच बचाव में बिट ...
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वटवृक्ष मिट्टी के तन में चेतना की वर्तिका बन मैं अहर्निश जलती हुई ढूंढती रही अपना अस्तित्व .... बाहर बाहर पर मेरी निष्ठा , मेरे दायरे , मेरा ममत्व मेरी असीमि... |
जसबीर ढंड उमर चौरासी वर्ष, जर्जर काया, निगाह– बस धुँधली-सी झलक दिखाई देती है। मुँह में दाँत कोई नहीं ... |
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अन्त में एक कार्टून और देख लीजिए!
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बहुत ही सुन्दर लिंक है ।
ReplyDeleteप्रस्तुतिकरण भी प्रसंशनीय है ।
आपका बहुत बहुत आभार शास्त्री जी ।
आपके लिंक्स बहुत अच्छे हैं .
ReplyDeleteतर्क मज़बूत और शैली शालीन रखें ब्लॉगर्स :-
हमारा संवाद नवभारत टाइम्स की साइट पर
दो पोस्ट्स पर ये कुछ कमेंट्स हमने अलग अलग लोगों के सवालों जवाब में दिए हैं। रिकॉर्ड रखने की ग़र्ज़ से इन्हें एक पोस्ट की शक्ल दी जा रही है।
सार्थक चर्चा।
ReplyDeleteआभार।
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नमक इश्क का हो या..
इसी बहाने बन गया- एक और मील का पत्थर।
बहुत ही शानदार चर्चा....
ReplyDeleteबहुत ही अच्छे लिंक्स...
सादर...
मेरी कविता को यहाँ स्थान देने के लिए आभार
बहुत सुन्दर चर्चा ||
ReplyDeleteआभार ||
प्रणाम अंकल! आज आपका आशीर्वाद पाकर मुझे बहुत खुशी हुई...आशा है आपका ये प्यार और आशीर्वाद मुझे हमेशा यूँ ही मिलाता रहेगा...आज शिक्षक दिवस पर आप सभी गुरुजनों को मेरा सदर नमन!!!
ReplyDeleteअंकल मुझे पता है शिक्षक दिवस कल यानि 5 सितम्बर को है परन्तु मैंने गलती से "आज" लिख दिया, गलती के लिए माफ़ी चाहती हूँ....
ReplyDeleteकार्टून को भी सम्मिलित करने के लिए आभार.
ReplyDeleteसुन्दर लिंक्स से सजी रोचक चर्चा..मेरी रचना को शामिल करने के लिए आभार...
ReplyDeleteबड़े सुन्दर और पठनीय सूत्र।
ReplyDeleteधन्यवाद जी हमारे जन्मदिन की शुभकामना के लिये। ईश्वर करे चर्चा मंच इसी तरह सफलता के पायदान चढ़ता रहे।
ReplyDeletenice
ReplyDeleteबहुत ही सुंदर चर्चा लगाई है आपने
ReplyDeleteनयापन लिए ||
ReplyDeleteबेहद आकर्षक ||
बहुत -बहुत बधाई ||
सुन्दर लिंक सुन्दर चर्चा...बधाई
ReplyDeleteकुछ नए लिंक मिल गए, आभार।
ReplyDeleteबाहर होने के कारण नेट तक पहुच नहीं रही लेकिन आज जब पहुंचा तो देखा भाई शास्त्री जी क्या बात है. बेहतरीन सजावट के साथ बेहतरीन लिंक . मज़ा आ गया. आप की मेहनत का फाएदा हम सभी उठाते हैं . आभार
ReplyDeleteबेहद उम्दा चर्चा ... पर जो बात शायद किसी ने गौर नहीं की ... शुरू में दिए गए चित्रों में मुकेश कुमार सिन्हा जी का चित्र गलत लगा हुआ है ... इसको सुधार लें !
ReplyDeleteतमाम उपयोगी लिंकों के बीच अपनी उपस्थिति को देखना भी सुखद अहसास है। आभार ।
ReplyDeleteबढ़िया चर्चा...मेरे व्यंग्य का लिंक देने के लिए आभार
ReplyDeleteबहुत ही अच्छे लिंक्स ... मेरी रचना को स्थान देने के लिये बहुत-बहुत आभार ।
ReplyDeleteaadarney shastree jee dhanyvad.
ReplyDeletebadhiya charcha
ReplyDeletemera jaanmdin yaad karne ke liye shukriya sir!