आज की मूक चर्चा में आपका स्वागत है ।
मूक चर्चाएँ पहले भी हुई है , सोचा मैं भी इस प्रयोग को करके देखूं , तो लिंक हैं चित्र पर कीजिए चित्र पर क्लिक और पहुँचिए पोस्ट पर
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धन्यवाद
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नया प्रयोग, शब्दहीन पर अर्थपूर्ण...
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर और स्तरीय चर्चा!
जवाब देंहटाएंमगर यह मूक नहीं है इसमें तो चित्र ही सब कुछ बोल रहे हैं।।
आभार!
ऊपर से तीसरे नम्बर के चित्र पर लिंक लगने से रह गया है!
जवाब देंहटाएंकृपया इस पर लिंक लगा दीजिए।
Bahut Sunder Links....
जवाब देंहटाएंसुन्दर लिनक्स का संयोजन ..
जवाब देंहटाएंkalamdaan.blogspot.in
सुन्दर चित्रमय झांकी !
जवाब देंहटाएंअच्छी चर्चा अच्छे लिंक्स.
जवाब देंहटाएंएक अच्छा अलग प्रयोग
जवाब देंहटाएं:)
जवाब देंहटाएं♥ http://commentsgarden.blogspot.com/2012/02/naturopathy-in-india.html
sunder prayog ...sunder charcha ...
जवाब देंहटाएंवाह!
जवाब देंहटाएंदिलबाग जी, चर्चामंच मेरी रचना को स्थान देने के लिए बहुत२ आभार,....चित्रों के साथ लिंकों प्रयोग अच्छा लगा,....
जवाब देंहटाएंबहुत अच्छी प्रस्तुति,
MY NEW POST ...कामयाबी...
बहुत ही अच्छी प्रस्तुति ।
जवाब देंहटाएंbahut badhiya dilbag ji ..... rachna ko charch amanch me sthan dene ke liye hardik aabhar
जवाब देंहटाएंवाह, शब्द मौन हैं तो क्या चित्रों की अपनी भाषा है ;पढ़ कर समझ लेंगे लोग - प्रयोग नया है विषय-वस्तु भी चुनिन्दा .आभार आपका !
जवाब देंहटाएंपता नहीं क्यों मेरे (तीसरे नंबर के ) ब्लॉग के चित्र पर क्लिक करने पर ब्लॉग नहीं खुल रहा है..
जवाब देंहटाएंkalamdaan.blogspot.in
दिलबाग जी, चर्चामंच पर मेरी रचना को शामिल करने के लिए धन्यवाद।
जवाब देंहटाएंye andaaz bhi khoob pasand aaya...............
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर चित्रंमयी चर्चा
जवाब देंहटाएंप्रयोग मौन ... लिंक्स जानदार
जवाब देंहटाएंbahut sundar bolte links se saji charcha prastuti ke liye dhanyavad..
जवाब देंहटाएंमूक होकर भी मुखर चर्चा...सुंदर लिंक्स.हाइगा को शामिल करने के लिए आभार|
जवाब देंहटाएंभाषा समझने वाला चाहिए
जवाब देंहटाएंऋतु जी असुविधा के लिए खेद है
जवाब देंहटाएंदेर से ही सही गलती सुधार ली गई है
आभार
अच्छा प्रयोग।
जवाब देंहटाएंबहुत बेहतरीन....
जवाब देंहटाएंमेरे ब्लॉग पर आपका हार्दिक स्वागत है।
नयी तरह की प्रस्तुति...
जवाब देंहटाएंचित्रों की खूबसूरत प्रदर्शनी..
हर चित्र कुछ अलग से ज़ज्बात बयाँ करता सा....
बहुत .खूबसूरत अंदाज़.....
नयी तरह की प्रस्तुति...
जवाब देंहटाएंचित्रों की खूबसूरत प्रदर्शनी..
हर चित्र कुछ अलग से ज़ज्बात बयाँ करता सा....
बहुत .खूबसूरत अंदाज़.....
chitron ne bahut kucch kah diyaa,
जवाब देंहटाएंek paheli ko bahut kuchh suljhaa diyaa
क्लिक करो तो जानों.......
जवाब देंहटाएंकाफी पहले एक फिल्म आई थी पुष्पक, इस मूक फिल्म की तरह यह मूक चर्चा भी शानदार।
Dilbag ji--Thanks Sir.
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