सुधि पाठकों!
सोमवार की चर्चा में
देखिए मेरी पसन्द के कुछ लिंक।
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धरम बिना आवाज का
कैसा होता है रे तेरा
कैसे बिना शोर करे
तू धार्मिक हो जाता है
उलूक टाइम्स पर
सुशील कुमार जोशी
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मन चाहता
काली कजरारी
आँखें तेरी
गहराई उनमें
झील सी
मनमोहक
अदाएं उनकी
उनमें डूब जाने
को दिल होता...
Akanksha पर
Asha Saxena
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एक ग़ज़ल :
वातानुकूलित आप ने---
वातानुकूलित आप ने आश्रम बना लिए
सत्ता के इर्द-गिर्द ही धूनी रमा लिए
’दिल्ली’ में बस गए हैं ’तपोवन’ को छोड़कर
’साधू’ भी आजकल के मुखौटे चढ़ा लिए...
आपका ब्लॉग पर
आनन्द पाठक
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३२८.
जड़ें
मैंने जड़ों से पूछा,
क्यों घुसी जा रही हो ज़मीन में,
कौन सा खज़ाना खोज रही हो,
किससे छिपती फिर रही हो ?
जड़ों ने कहा,
हमारे सहारे टिका है पेड़,
जुटाना है उसके लिए
हमें पोषक आहार...
कविताएँ पर Onkar
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उलझन --
कविता
इक मधुर एहसास है तुम संग -
ये अल्हड लडकपन जीना ,
कभी सुलझाना ना चाहूं -
वो मासूम सी उलझन जीना...
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तुम थे तो हम थे...
राहुल कुमार
लम्हे वो प्यार के जो जिए थे, वजह तुम थे
ख्वाब वो जन्नत के जो सजाये थे, वजह तुम थे
दिल का करार तुम थे,
रूह की पुकार तुम थे
मेरे जीने की वजह तुम थे...
मेरी धरोहर पर
yashoda Agrawal
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दलित और गरीब को
मीटू हैशटैग नहीं लगाना पड़ता
ह तय बात है कि हर जीव का सम्मान होना चाहिये, चाहे वह स्त्री हो या पुरुष. इससे भला कौन न सहमत होगा? अतः पहले ही बता दूँ कि मैं मीटू हैशटैग (#MeToo) के साथ हूँ जब तक की उसका इस्तेमाल अति के लिये न हो और दोनों तरफ से हो. फिलहाल तो दिखता है कि मीटू सिर्फ लड़कियों के एकाधिकार में है. अगर ऐसा ही चलता रहा ३७७ धारा के बाद भी तो दूसरी तरफ से सब एकजुट होकर वीटू न शुरु कर दें, इस बात का डर है. घंसु सुबह सुबह पान की दुकान पर बैठे तिवारी जी की तरफ इशारा कर के सब आने जाने वालों को बता रहे थे कि हीटू. तिवारी जी बोले अबे, वो मीटू होता है हैशटैग के साथ, हीटू नहीं...
शुभ प्रभात
जवाब देंहटाएंआभार
सादर
सुन्दर और सार्थक चर्चा।
जवाब देंहटाएंआभार राधा तिवारी जी आपका।
धन्यवाद मेरी रचना शामिल करने के लिए |
जवाब देंहटाएंशुभ प्रभात आदरणीया
जवाब देंहटाएंसुन्दर और सार्थक चर्चा।
बहुत अच्छी चर्चा प्रस्तुति
जवाब देंहटाएंसोमवारीय चर्चा के सुन्दर अंक में 'उलूक' के धरम को जगह देने के लिये आभार राधा जी।
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर सोमवारीय चर्चा। मेरी रचना को शामिल करने के लिए बहुत धन्यवाद।
जवाब देंहटाएंसुन्दर लिंक्स। मेरी कविता शामिल की. आभार।
जवाब देंहटाएंआदरणीय राधा जी - सोमवारीय अंक में अपनी रचना देखकर बहुत ख़ुशी हो रही है | आपके सहयोग की आभारी रहूंगी | आज के अंक के सभी सहभागियों की रचनाएँ बहुत ही सार्थक और पठनीय हैं | सभी को बधाई | सादर -
जवाब देंहटाएंठग्स ऑफ हिंदोस्तान दुनियाभर में इतनी स्क्रींस पर होगी रिलीज़, बन जाएगा नया रिकॉर्ड
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