सादर अभिवादन।
बुधवारीय प्रस्तुति में आपका स्वागत है।
आदरणीय शास्त्री जी का हार्दिक धन्यवाद मेरी व्यस्तता के चलते सोमवारीय प्रस्तुति लेकर आने के लिए। आज मैं आदरणीय शास्त्री जी जे स्थान पर की प्रस्तुति के साथ हाज़िर हूँ।
आइए पढ़ते हैं चंद चुनिंदा रचनाएँ-
ग़ज़ल "साहूकार ने भिक्षुक बनाया है" (डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री "मयंक")
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कल हो जाएंगे पीत पात
नश्वर तन की कैसी बिसात
समय चक्र रुकता नही
बस आगे आगे चलता है
मन यह कैसी परवशता है
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कितनी भी दिक्कत आए
उन तक पहुँच पाने में
पूरे प्रयत्न करते
उन तक पहुँच ही जाते |
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शरद ॠतु पर लिखी पढ़िए कुछ प्रसिद्ध कविताऐं
मालती अनजान भीनी गन्ध का है झीना जाल फैलाती
कहीं उसके रेशमी फन्दे में शुभ्र चाँदनी पकड़ पाती!
घर-भवन-प्रासाद खण्डहर हो गये किन-किन लताओं की जकड़ में
गन्ध, वायु, चाँदनी, अनंग रहीं मुक्त इठलाती!
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अब वह घर ख़ामोश है,
आवाज़ें विदा हो गई हैं वहां से,
अब वह घर मुझे अच्छा नहीं लगता,
ऐसे चुपचाप घर किसी को अच्छे नहीं लगते,
वे किसी के भी क्यों न हों.
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इसमें कोई दो राय नहीं कि हालिया बरसों में वैवाहिक रिश्तों में तेजी से बिखराव की स्थितियां पैदा हुई हैं। कारण कई सारे हैं पर बच्चों के मन-जीवन में बढ़ रहीं परेशानियों के रूप में सामने आ रहे परिणाम साझे हैं। ये नतीजे हर टूटते घर के हिस्से हैं। यों वैवाहिक जीवन में अलगाव जैसे व्यक्तिगत निर्णय समग्र रूप से समाज को भी प्रभावित करते हैं। पारिवारिक स्तर पर ही नहीं सामाजिक परिवेश पर भी रिश्तों की उलझनों और टूटन के निजी फैसलों का व्यापक असर पड़ता है। यही कारण है नाकामयाब शादियों की बढ़ती संख्या केवल एक आँकड़ा भर नहीं है। यह बिखरते सामाजिक ताने-बाने और भावी पीढी के लिए पैदा हो रही असुरक्षा और अकेलेपन के हालात का आईना भी है।
दूध और खून की रोटी बयां करती हैं फ़ासले,
बेचते नहीं बचाकर वतन पर निसार करते हैं।
कपड़ों पर नहीं दिल में लिखी है अज़मत,
मकबूलियत है सच्चे सौदेका व्यापार करते हैं।
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रवीन्द्र सिंह यादव
बहुत सुंदर और सार्थक चर्चा प्रस्तुति|
जवाब देंहटाएंआपका बहुत-बहुत आभार
आदरणीय रवीन्द्र सिंह यादव जी|
बढिया लिंक्स की चर्चा ....शामिल करने के लिए बहुत आभार
जवाब देंहटाएंसुंदर संकलन!
जवाब देंहटाएंपठनीय आकर्षक लिंक्स से सजा अंक।
मेरी रचना को चर्चा में स्थान देने के लिए हृदय से आभार।
सुप्रभात🙏🙏🌻🌻🌞
जवाब देंहटाएंबहुत ही सुंदर व सराहनीय प्रस्तुति सभी रचनाएं पठनीय हैं!
इतनी अच्छी प्रस्तुति के लिए आपका बहुत बहुत धन्यवाद🙏
सराहनीय रचनाओं से सजा मंच, आभार!
जवाब देंहटाएंबहुत ही सुंदर प्रस्तुति।
जवाब देंहटाएंसभी को बधाई।
सादर
सुंदर सार्थक अंक बहुत शुभकामनाएं आदरणीय सर 🙏
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